‘जियो – स्पेशियल तकनीक पर एक दिवसीय राज्य स्तरीय वर्कशॉप सम्पन्न‘

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  • चिप्स द्वारा एक दिवसीय जियो-स्पेशियल टेक्नोलाजी सेमिनार का आयोजन
  • विभिन्न विभागों के 60 से अधिक वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी हुए सम्मिलित
  • छत्तीसगढ़ में की जायेगी अत्याधुनिक तकनीक से मैपिंग

रायपुर, 13 अक्टुबर 2021 छत्तीसगढ़ इंफोटेक प्रमोशन सोसायटी, चिप्स और जियो-स्पेशियल वर्ल्ड, नई दिल्ली के संयुक्त तत्वाधान में आज यहां रायपुर के निजी होटल में सेमीनार का आयोजन किया गया।

जियो-स्पेशियल तकनीक विषय पर आयोजित इस सेमीनार में राजस्व, वन, अदिम जाति विकास, जल संसाधन, ग्रामीण विकास प्राधिकरण, सी एस आई डी.सी, नगरीय विकास आदि विभागों के 60 से अधिक प्रशासनिक अधिकारियों ने भाग लिया।

उक्त जानकारी देते हुए चिप्स के मुख्य कार्यपालन अधिकारी समीर विश्नोई ने बताया कि देश में जी.आई.एस क्षेत्र में उपयोग की जा रही नवीन तकनिकों से राज्य के विभिन्न विभागों को अवगत करवाने के लिए कार्यशाला का आयोजन किया गया है। उन्होंने बताया कि आधुनिक काल में डिजिटल सशक्तिकरण और मजबूत अर्थव्यवस्था, स्मार्ट शहरों, जल सिंचाईं, स्वास्थ्य, स्वच्छता, सुरक्षा प्रबंधन आदि क्षेत्रों में भौगोलिक सूचना प्रणाली को महत्वपूर्ण साधन माना जा रहा है।

इसलिए उभरती प्रौधोगिकी जैसे – आई.ओ.टी. अर्टिफिशियल इंटेलिजेंसी, रोबोटिक्स, क्लाउड, ब्लॉकचेन, ए.आर. आदि में भौगोलिक सूचना प्रणाली का प्रयोग निरंतर बढ़ रहा है।

चिप्स के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अमिताभ शर्मा ने सेमीनार के शुभारंभ अवसर पर स्वागत भाषण देते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ प्राकृतिक संसाधनों से सम्पन्न राज्य है। जिसे देखते हुए चिप्स द्वारा नवीनतम तकनीकों का जी.आई.एस. के साथ समन्वय कर राज्य में नवीन कार्यविधि विकसित करने की दिशा में कार्य प्रारम्भ किया जा रहा है।

इस अवसर पर बोलते हुए सर्वे ऑफ़ इंडिया, छत्तीसगढ़ के संचालक जॉय कोंगारी ने कहा कि सर्वेक्षण कार्य में आनेवाली चुनौतियों और कठिनाईयों को देखते हुए राष्ट्रीय स्तर पर कंटिनियूशली ऑपरेटिंग रिफरेंस स्टेशन ¼CORS½ स्थापित किया जा रहा है। इस आधुनिकतम तकनीक का उपयोग शीध्र ही छत्तीसगढ़ में भी प्रारंभ किया जा रहा है।

सर्वे ऑफ़ इंडिया, साउथर्न प्रिंटिंग ग्रुप के संचालक टी.पी. मलिक ने बताया कि छत्तीसगढ़ में अत्याधुनिक तकनीक से जल्द ही मैपिंग प्रारम्भ की जायेगी। ट्रिम्बल इंडिया के संचालक संजीव त्रेहान ने सेमीनार में बताया कि सर्वेक्षण कार्य में अब लेजर तकनीक के आने के बाद परिणाम वास्तविकता के निकट और सटीक प्राप्त हो रहे हैं। इससे देश में विकास को गति मिलती है।

इससे पहले कार्यक्रम का शुभारंभ करते हुए जियो-स्पेशियल वर्ल्ड के डायरेक्टर साऊथ एशिया अभिषेक कोंटागले ने बताया कि ग्लेाबल ईकानामी में जियो – स्पाशियल तकनीक महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है। इस तकनीक से नागरिक सेवाओं की प्रदायगी निरंतर विकास समाजिक, समानता आदि में सरलता आ रही है।

चिप्स के अतिरिक्त मुख्य कार्यपालन अधिकारी अजितेश पाण्डे ने समस्त अतिथियों को धन्यवाद ज्ञापित किया। कार्यशाला में आदिम जाति एवं जनजाति विकास विभाग के संयुक्त संचालक संजय गौर, वन विभाग से सुनिल मिश्रा, अतिरिक्त मुख्य वन सरंक्षक ने भी कार्यशाला को संबोधित किया।

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